
बाजार नियामक सेबी के प्रमुख तुहिन कांत पांडेय ने शुक्रवार को कहा कि म्यूचुअल फंड उद्योग को सिर्फ बाजार से जुड़े निवेश जोखिमों पर ही नहीं बल्कि परिचालन संबंधी खतरों को लेकर भी सतर्क रहना होगा. इसके साथ ही पांडेय ने आगाह किया कि फर्जी निवेशकों द्वारा धोखाधड़ी से फंड योजनाओं को भुनाने की घटनाएं निवेशकों के भरोसे को गंभीर रूप से प्रभावित कर सकती हैं.
इस तरह के मामलों में कोई फर्जी व्यक्ति असली निवेशक बनकर उसके फंड यूनिट्स या पैसे को झूठे दस्तावेज़ या पहचान के सहारे निकाल लेता है.
सेबी चेयरपर्सन ने म्यूचुअल फंड निकाय ‘एम्फी’ के एक कार्यक्रम में कहा कि संपत्ति प्रबंधन कंपनियों (एएमसी) को ऐसे मामलों में तुरंत कार्रवाई करनी चाहिए और बदलते अपराध तरीकों पर निगरानी रखनी चाहिए.
उन्होंने सुझाव दिया कि इन मामलों के तौर-तरीकों को सभी एएमसी और पंजीकरण एजेंटों के बीच साझा किया जाए, ताकि दुबारा ऐसी घटनाएं न हों.
सेबी के पूर्णकालिक सदस्य अमरजीत सिंह ने भी म्यूचुअल फंड उद्योग से जिम्मेदाराना वृद्धि पर जोर देते हुए कहा कि शासन, पारदर्शिता और नैतिक आचरण को बनाए रखना जरूरी है.
उन्होंने कहा कि उद्योग में तेज प्रतिस्पर्धा और तेजी से नवाचार के दबाव के बीच, अल्पकालिक लाभ से अधिक निवेशकों के हितों को प्राथमिकता देना म्यूचुअल फंड्स की दीर्घकालिक सफलता की कुंजी है.
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